हर बार मुझे अकेलेपन का अहसास दिलाती
मुझसे ज्यादा तुम पे ये अपनापन बताती
मानो जैसे मेरे प्यार पर शार्प
मुबारक हो तुम्हें ये शराब
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तुम्हारी गुड़िया के आसुओं से ऊपर है ये
उसकी प्यारी मुस्कान फिकी कर देती ये
मानो जैसे उसका बचपन खराब
मुबारक हो तुम्हें ये शराब
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तुम्हें युँ ख़ुदग़र्ज़ बना देती हैं
एक जुनून चडा देती है
जैसे पहले चेहरे पे था नक़ाब
मुबारक हो तुम्हें ये शराब
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Aug 3 2014